दोहा—— जै गणेश गिरिजा सुवन , मंगल मूल सुजान । कहत अयोध्यादास तुम , देउ अभय वरदान ।। चौपाई———– जय गिरिजापति दीन दयाला । सदा करत सन्तन प्रतिपाला ।। …
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Jai shiv Omkara
जय शिव ओंकारा, स्वामी हर शिव ओंकारा, ब्रह्मा विष्णु सदा शिव अर्धांगी धारा, जय शिव ओंकारा…. एकानन चतु्रानन पंचानन राजे, हंसानन गरुरासन वृषवाहन सजे, ॐ जय शिव ओंकारा…. अक्षमाला बनमाला मुंडमाला धारी, त्रिपुरारी कंसारी कर्माला धारी, ॐ जय शिव ओंकारा…. स्वेताम्बर पीताम्बर बाघाम्बर अंगे, संकादिक गरुरादिक भूतादिक संग, ॐ जय शिव ओंकारा…. दो भुज चार…