जय अम्बे गौरी , मैया जय श्यामा गौरी । तुमको निशदिन ध्यावत, हरि ब्रह्मा शिवजी ।। १।।जय अंबे माँग सिन्दूर विराजत , टीको मृगमद को । उज्जवल से दोउ नैना , चन्द्रवदन नीको ।।२ ।।जय अंबे कनक समान कलेवर , रक्ताम्बर राजे । रक्तपुष्प गल माला , कण्ठन पर साजे ।।३ ।।जय अंबे केहरि वाहन…